Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!
Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!

Shravani DNG

Tragedy

3  

Shravani DNG

Tragedy

मुंबई का भूला

मुंबई का भूला

1 min
389


ऐ बारिश ! मुंबई की चकाचौंध से, माना कि तुमको भी बड़ा प्यार है,

पर भूलना मत, हर रोज़ तुम्हें याद करता, गांव में एक यार है।


गांव की मिट्टी को बेसहारा है, जो छोड़ जाते।

ऐ बारिश ! तुम भी उन युवकों की तरह हो, जो गांव लौट कर नहीं आते।


कोई नहीं चाहता वहा, फिर भी तुम वही बरसते हो

कोई नहीं सुनता उस शोर में, फिर भी तुम गरजते हो।


क्यों तुम उस एहसान फरामोश के लिए तरसते हो ?

गांव की सड़क पर खड़े बाप से, जब ये सवाल किया जाता है !

बाप मन ही मन कहता है, मुंबई का भूला, शाम को गांव ही आता है !


पेड़ लगाते हैं गांव वाले, और छाया ले लेते हैं शहरवाले,

तुम जैसे बादलों की वजह से, खुदख़ुशी कर लेते हैं किसानवाले,


अच्छा है जितनी जल्दी समझ लो, एक दिन लौट के यही है आना,

बादलों से गिरके खेत जमीनों पर, इस मिट्टी का क़र्ज़ है चुकाना।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Tragedy