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AKIB JAVED

Drama

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AKIB JAVED

Drama

माँ

माँ

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ज़िन्दगी में जिसके माँ नही होती है

उनसे पूछो माँ की कमी क्या होती है।


जब आफ़त मेरे सर पे आन पड़ती है

सिखाई माँ की सीख ही याद पड़ती है।


आँधियों में भी चरागों को जलाये रखती हैं

माँ की दुआएँ खुद में यूँ असर रखती है।


जब भी माँ के साथ होता हूँ मैं

नई नई बाते मुझे वो खूब सिखाती है।


अनपढ़, गँवार है खूब चिल्लाती भी है

ज़िन्दगी की नई सीख सिखाती भी है।


उनकी किस्मत नहीं रूठती उनसे कभी भी

ज़िन्दगी में करते काम, होती माँ की खुशी है।


अपने खून से सींचती हैं, सँवारती पालती है

माँ की दुआओं से ही अब रौशन ये जिंदगी हैं।


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