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Sachin Gupta

Classics Inspirational

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Sachin Gupta

Classics Inspirational

माँ बाप

माँ बाप

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एक वृक्ष है तो एक छाँव है

दोनों से मिलता संसार है

एक पुष्प है तो एक बीज है

एक चंद्रमा है तो एक प्रकाश है


माँ बाप से बढ़कर नहीं कोई जहान है

इनके बगैर सूना पूरा संसार है

यही तो बाप का किरदार है

एक वृक्ष है तो एक छाँव है।


कुछ लोग कहते है कि मैं गरीब हूँ

कुछ कहते है मेरे पास कुछ भी नहीं

कुछ कहते है जग में मै असहाय हूँ

पर , जिनके पास माँ बाप है

वो क्यूँ नहीं कहता की मैं,

जग में सबसे धनवान हूँ।


मंदिर में जाते हैं ,कुछ मस्जिद में जाते हैं

वो गिरजाघर भी हो आते हैं

वो चर्च को भी आते हैं

जब संकट में हो औलाद तो


माँ - बाप हर घर हो आते हैं

मुरादें मांगने वो ,हर दर को जाते हैं

मुश्किल से मिलते ऐसे माँ- बाप हैं

फिर क्यों तुम इनको ठुकराते हो

क्यों इनको तुम सताते हो।


बड़े नसीब वाले होते वो औलाद है

जो माँ बाप के गोद में सर रख सोते हैं

और अपनी औलाद को डाल गोद में उनके

शायद मन ही मन इतराते हैं 

जिनके गोद में खेलते हैं नाति और पोतियां

ऐसे सुख कुछ ही दे पाते हैं 


जो समझते हैं,क्या होते हैं माँ बाप

नसीबों से बनाए जाते हैं औलाद वो

बड़े खुशनसीब वो माँ बाप हैं 

जिनके आँगन में ऐसे औलाद है

और बड़े नसीब है उनके

जिनके चौखट पर बैठे उनके माँ बाप है।


समझ लो आज तुम्हारे पास वक्त है

कल की गिनती सिखाने वाले तुम्हारे माँ बाप है

माँ बाप है तो तुम्हारे घर में रौनक है

माँ बाप है तो तुम्हारे घर में जन्नत है

माँ बाप है तो तुम्हारे घर में उन्नत है


माँ बाप है तो तुम्हारे घर में बरकत है

माँ बाप है तो तुम्हारे घर में बैठा भगवान है

तुम्हें कहीं जाने की जरूरत नहीं है

घर में अगर तुम्हारे माँ बाप हैं 

करना न रुसवा इन्हें

अगर तुम्हारे घर में माँ बाप है


भूल से भी न दिल दुखाना इनका

अगर तुम्हारे घर में माँ बाप हैं।


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