लिखा था जो
लिखा था जो
आपकी यादों में हमने कितने सारे पत्र लिखे
ओर उस पत्र को चीर कर फैंक दिए।
हमें पता है आप हमारे कभी नहीं हो पाओगे
और नहीं हम आपके माना के आप सिर्फ ख्वाबों में
हमारे हो लेकिन ऐसा होना क्या फायदा
एक कल्पना में आप हमारे हो वह।
कल्पना क्या ज़िन्दगी भर साथ देगी एक कल्पना के लिए
कैसा रोना और एक कल्पना के लिए।
कैसा लिखना पत्र जो कभी आपके पास जा नहीं पायेगा
इसलिए हमने एक कल्पना के ख्याल में
बहुत सारे पत्र लिखे और भेजे नहीं।