लाल फूलों से भरे असंख्य गुलिस्तानों का बसेरा कर लो
लाल फूलों से भरे असंख्य गुलिस्तानों का बसेरा कर लो
लाल रंग के यह
महकते फूल
लाल कलियां
लाल गुलाब
इनसे मिला मुझे
बेहिसाब प्यार
लाल रंग के फूल
जब झड़ जायेंगे तो
मुझको बहुत रुलायेंगे
मोहब्बत थी मुझे इनसे बहुत
दिल से
यह कहां जानते हैं
यह जब खिलकर मुस्कुराते थे तो
मैं भी अनायास इनकी खुशी देख
मुस्कुरा उठती थी
जीने की कोई तो वजह
खुद ही तलाशनी पड़ती है
घर से निकलकर
किस तरफ जाने के लिए
कदम बढ़ाने हैं
यह दिशा निर्धारित करनी होती है
गुलिस्तान दूर हो तो
मन में
लाल फूलों से भरे
असंख्य गुलिस्तानों का
बसेरा कर लो
प्यार कोई तुमसे करे
यह इंतजार मत करो
खुद से प्यार करो
लाल फूलों से प्यार करो
इस संसार की हर चीज से प्यार करो
इसके लिए लाल फूलों के खिलने का भी
न इंतजार करो।