करवा चौथ व्रत संस्कार।
करवा चौथ व्रत संस्कार।
सुख दुख में हम तुम हर पल साथ निभाएंगे
एक जन्म नहीं सातों जन्म हम पति-पत्नी बन जाएंगे।
दोनों मिलजुल कर हम सारे कर्तव्य निभाएंगे।
बांट लेंगे दर्द एक दूजे का
दोनों कभी खुद को एकाकी नहीं पाएंगे।
विश्वास है स्वर्ग में बनी है जोड़ी हमारी,
तो हम इस धरती पर भी स्वर्ग बनाएंगे।
आओ प्रण लेते हैं हम कभी एक दूजे का दिल न दुखाएंगे।
समय के साथ चलेंगे हम तुम,
बूढ़े होंगे पर बच्चों से बन जाएंगे।
बच्चों ने सिखाया वैलेंटाइन डे मनाना।
हम उन्हें करवा चौथ के संस्कार सिखाएंगे।
भले ही बाल सफेद है लेकिन
पायल ,टीका, झूमर, चूड़ी
पहन सुहागन बन सज जाएंगे।
एक दूजे की आंखों में देखेंगे तो हम वही पुराना सुंदर रूप पाएंगे।
साथ बैठेंगे जब हम तुम दोनों
दुख सारे भूल जाएंगे।
विवाह संस्कार के बंधन से ही होती है मुक्ति,
यही सब को समझाएंगे।
कहना सुनना बेमानी है
हम देख कर आंखों में ही
मन के सारे भाव समझ जाएंगे।