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Goldi Mishra

Classics Inspirational Others

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Goldi Mishra

Classics Inspirational Others

ज़रा सा सोचो

ज़रा सा सोचो

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खुद का परचम ऊंचा रहे यही जगत है चाहे,

मै सही मै सही यही राग हर कोई गाए,।।

फितरत अपनी चंदन सी रही,

तभी जिंदगी सांपो से घिरी रही,

कर्म नहीं पर बोल बड़े है,

बातों बातों में सभी बोल पड़े है।


खुद का परचम ऊंचा रहे यही जगत है चाहे,

मै सही मै सही यही राग हर कोई गाए

सिर्फ शब्दों का खेल है सब,

अपनी ही हकीकत से अनजान है सब,

कभी चुप भी रहो हर वक्त बोलना जायज़ नहीं,

तुम सही हो हर वक्त यह भी जरूरी नहीं।


खुद का परचम ऊंचा रहे यही जगत है चाहे,

मै सही मै सही यही राग हर कोई गाए,।।

ज़रा सा सोचो कुछ खुद पर भी विचार करो,

ज़रा सा खुदकी हसरत पर भी विचार करो,

सब गलत बस एक तुम हो सही,

बस एक यही सोच ही तो सही नहीं।


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