जीवन के बाद
जीवन के बाद
जीवन के बाद कुछ तो होता होगा
शायद जमी से जाने के बाद,
कोई बादलों में छिप कर सोता होगा,
जब शरीर भी हमारे साँसों से जुदा होता होगा,
जरूर कोई बाहें फैलाये इंतज़ार में होता होगा,
जब कभी लफ्ज़ चुनना मुश्किल हुआ होगा,
शायद तब भी कोई खामोशी को हमारी सुन लेता होगा,
दर्द जब कभी आँखों से हमारी झलकता होगा,
देख कर ऐसे आसमां से हमें,
किसी अपने का दिल दुखता होगा,
शायद तभी कभी-कभी,
बिन मौसम ही बादल बरसता होगा।
जीवन के बाद आखिर कुछ तो होता होगा
अधूरे सपने फिर से संजोता होगा
किसी की याद में दिल बेचैन होता होगा
उसे पाने की चाह में
अगला जन्म लेने की सोचता होगा।