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Riya yogi

Romance

3  

Riya yogi

Romance

जाने कैसी प्रीत ......

जाने कैसी प्रीत ......

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अब उनसे कोई बात होती नहीं ,

कोई मुलाकात अब होती नहीं ...

देख लेते है कभी उनकी एक झलक ,

तो फिर हमारी आँखे सोती नहीं ....

कभी भीगा करते थे, इन बारिश की बूंदो में 

अब पहले जैसी वो बरसात होती नहीं .........



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