बांहों में सिमट जाना
बांहों में सिमट जाना
चेहरा दिखा जा, नजर तू मिला जा,
न शरमाना ओ मेरी सनम।
मैं हूं तेरे प्यार का दीवाना, बांहों में सिमट जाना मेरी सनम।
रात खीली है मतवाली और समा बना है सुहाना,
मेरे कोरे धड़कते दिल में प्यार की ज्योत जलाना।
पास मेरे आना, दूर मत जाना,
न तड़पाना ओ मेरी सनम।
मैं हूं तेरे प्यार का दीवाना, बांहों में सिमट जाना मेरी सनम।
इतने लम्हों के बाद आई हो, मनमानी तू न करना,
इन्तजार करता था दिन रात में, मिलन मधुर तू बनाना।
अब मत जाना, दिल में बस जाना,
न तरसाना ओ मेरी सनम।
"मुरली" है तेरे प्यार का दीवाना, बांहों में सिमट जाना सनम।

