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Rashmi Lata Mishra

Classics

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Rashmi Lata Mishra

Classics

आराध्य क्यों

आराध्य क्यों

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कोई आराध्य क्यों

जो अदृश्य होकर भी 

एहसास दिलाता है

एक शक्ति का, एक विश्वास का

एक सहारा, सबसे प्यार का

केवल मौन!


न कोई शिकायत

न कोई फ़रमाइश,

न दुःख में दुःखी

न सुख में उत्साहित,

केवल तटस्थ, शांत

प्रति मूर्ति-सा

आराध्य है वो!


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