आज तेरी बाहो मे
आज तेरी बाहो मे
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आज तेरी बांहों में
रुकने को दिल करता है
तेरी इबादत में आज
झुकने को दिल करता है || 0 ||
क्यों इतना प्यार
आया है तुझपर
क्या यह नशा
छाया है मुझपर
अपनी हस्ती भी तुझपर
फुंकने को दिल करता है
तेरी इबादत में आज
झुकने को दिल करता है || 1 ||