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V. Aaradhyaa

Classics

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V. Aaradhyaa

Classics

आहत हुआ है मन

आहत हुआ है मन

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ये पांव घायल हुए और आहत - सा है मन !

दास्तां अपने दिलों की क्या बताएं आपको!!


आगे जाकर भी मिलेगी अनेकानेक चुनौतियां!

सफऱ बहुत ही लंबा है तो क्या बताएं आपको!!


ज़ब पड़ी मार गरीबी की तो जीना हुआ मुहाल!

अब पांव भी रोने लगे तो क्या बताएं आपको!!


जो बेचकर जमीं सारी चल पड़े थे शहर को !

 निस्तब्ध से वे ही खड़े हैं क्या बताए आपको!!


मुफ्त का राशन व पानी चैन नहीं दे पाएगा !

हिचकियों में शहर आता क्या बताएं आपको!!


रात दिन धड़कन बढ़ी औ बढ़ी चिंता गजब !

दास्तां अपने दिलों की क्या बताएं आपको !!



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