Kumar Vikrant

Crime

4.5  

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किस्सा आधुनिक तोता मैना - छुटकारा

किस्सा आधुनिक तोता मैना - छुटकारा

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"मैना रानी अभी बहुत रात बची है और ठंड की वजह से आँखों से नींद बहुत दूर है इसलिए समय बिताने के लिए तुझे औरत की बेवफाई की एक कहानी और सुनाता हूँ तब तुझे विश्वास होगा कि कुछ औरते स्वभाव से ही बेवफा होती है; वो किसी भी भले आदमी के मुकाबले आवारा आदमियों को ज्यादा पसंद करती है।" तोता पेड़ की खोह में बैठी हुई मैना की तरफ देख कर बोला।

"तोते तेरे किसी भी किस्से से औरत की बेवफाई सिद्ध नहीं हो सकी है लेकिन रात की इस सर्दी में तेरे किस्सों से समय ठीक गुजर रहा है; तो सुना किस्सा।" मैना हँसकर बोली।

"तू सुन........."

कंपनी गार्डन की पार्किंग में पैर रखते ही सिड समझ गया कि कुछ लोग उसकी तरफ गौर से देख रहे है, वो उनकी निगाहों की परवाह न करते हुए वो पार्किंग से निकल कर पार्क के कोने में जा पहुँचा; सीमा ने उसे उस कोने पर ही मिलने का वादा किया था लेकिन सीमा वहाँ नहीं थी।

आज सिड अपनी दो साल पुरानी दोस्त सीमा से बहुत नाराज है, दो साल की दोस्ती में उसने सीमा को अनेक पुरुषो के साथ प्रेमालाप करते देखा था, सीमा के इस प्रेमालाप से उसे बहुत दुःख हुआ था और उसने सीमा से लगभग किनारा कर लिया था लेकिन फिर भी वो उसकी चिकनी चुपड़ी बातो में आकर फिर उसी के प्रेम में उलझ जाता था। लेकिन चार दिन पहले सिड ने ऐसा कुछ देखा जिससे उसका इस मोहब्बत से विश्वास उठ गया और वो बहुत निराश हुआ।

चार दिन पहले जब वो सीमा से ऑफिस की कैंटीन में मिला था तो वो १० मिनट बाद भयानक सिरदर्द का बहाना बना कर चली गई थी। चार घंटे बाद जब वो ऑफिस से घर के लिए निकला तो उसने रेलवे स्टेशन रोड पर स्थित बदनाम होटल नटराज से सीमा को कुख्यात बदमाश प्रेम के साथ निकलते देखा। सीमा उसे देखते ही घबरा गई।

तीन दिन तक हैरान परेशान सिड ऑफिस में सीमा से दूरी बनाए रहा, उसके मैसेज, कॉल को अवॉयड करता रहा। कल शाम सीमा उसके केबिन आकर बोली, "मुझे पता है तुम मुझसे नाराज हो लेकिन एक बार कम से कम मेरी बात तो सुन लो।"

सीमा की जिद्द की वजह से सिड उससे मिलने कंपनी गार्डन में आया था लेकिन अभी तक सीमा नहीं आई थी उसने कुछ देर और सीमा का इंतजार किया और कोने की बैंच पर जाकर बैठ गया । तभी उसने देखा दो बदमाश जैसे लगने वाले लोग उसकी तरफ गौर से देख रहे है, उसने उन्हें इग्नोर करते हुए आँखे दूसरी तरफ घुमा ली।

उसी समय नटराज होटल के एक कमरे में प्रेम के साथ अभिसार रत सीमा बोली, "क्यों प्रेम; आज सिड से छुटकारा मिल जाएगा न मुझे?"

"तू सच में पागल औरत है वो दो साल से तेरा आशिक रहा है और तू उससे छुटकारा चाहती है......तू सच में मुझसे भी खतरनाक है........" प्रेम बोला।

"अरे यार उसने मुझे तेरे साथ देख लिया था, अगर उसने ये बात मेरे भाइयो या पिता को बता दी तो वो मुझे जिन्दा नहीं छोड़ेंगे........इससे ज्यादा हालत तो तब खराब होगी अगर उसने ऑफिस में बता दिया कि मै तेरे साथ नटराज होटल में थी; पूरा शहर जानता है कि तू कौन है और नटराज होटल में घंटे के हिसाब से कमरे किस काम के लिए दिए जाते है........" सीमा बोली।

"मुझे बुरा बोलती है मक्कार औरत, मैं तो हूँ ही बदनाम लेकिन तू क्या है जो शराफत का चौला पहन कर इस घंटे के हिसाब से मिलने वाले होटल में मेरे साथ आती है.......तेरा बस चले तो तू अपने बाप भाइयो और ऑफिस वालो से भी छुटकारा पा ले......" प्रेम बोला।

"बकवास मत कर वो मेरे पिता और भाई है; उनकी तरफ देखा भी तो......" सीमा चौकते हुए बोली।

"तू अपने यार को मरवा रही है, तेरा कोई भरोसा नहीं कल तू अपने बाप और भाइयों को भी मरवा दे......." प्रेम उनके अभिसार का अंत करते हुए बोला।

प्रेम कुछ देर ऐसे ही लेटा रहा तभी उसके मोबाइल की घंटी बजी, मोबाईल पर हाँ हूँ करके उसने सीमा की और देखते हुए कहा, "मजा कर जानेमन, मिल गया छुटकारा तुझे।"

तोते को चुप होते देख मैना बोली, "हो गई तेरी कहानी पूरी; बहुत ही बकवास कहानी थी। अब मैं तुझे मर्द के बेवफाई की वो दास्तान सुनाऊँगी कि तेरी आँखें खुली की खुली रह जाएगी।"


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