तुम मिलो पहले सही
तुम मिलो पहले सही
रूप बदला है समय ने, मीत पर मैं हूँ वही।
सब बताऊँगा तुम्हें मैं, तुम मिलो पहले सही।
जी उठा है कौन मरकर
कौन जीकर मर गया ?
नींद मेरी कौन लेकर
साथ अपने घर गया ?
क्या सुनाया चाँदनी ने, और क्या है अनकही।
सब बताऊँगा तुम्हें मैं, तुम मिलो पहले सही।
कौन है वह सिर्फ जिसको
याद मीठी बात भर ?
कौन लिखता गीत तुम पर
कौन गाता रात भर ?
कौन करता चाँद से है, बस तुम्हारी बतकही।
सब बताऊँगा तुम्हें मैं, तुम मिलो पहले सही।
कौन है जो बिन तुम्हारे
जी न पाता चैन से ?
कौन है जो मोतियों को
बस लुटाता नैन से ?
कौन है जिसकी कहानी, सिर्फ पीड़ा सुन रही।
सब बताऊँगा तुम्हें मैं, तुम मिलो पहले सही।