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Meenakshi Kilawat

Abstract

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Meenakshi Kilawat

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शुभेच्छा नववर्ष की

शुभेच्छा नववर्ष की

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जिंदगी का और एक वर्ष

कम होता जा रहा है

और पुरानी यादों को पीछे

छोड़ता जा रहा है।


फिर नया साल आया है

हमें संभलने का मौका मिल गया है।

कुछ ख्वाहिश अधूरी रह गई 

कुछ ख्वाहिशें पूरी हो गई है

पुराने साल में कुछ नहीं किया

फिर आज करने का मौका है।


कुछ लोग मुझसे खफा हुए होंगे

कुछ लोग मुझसे खुश हो गए होंगे

कुछ लोग मुझसे मिलकर भूल गए

कुछ लोगोको मैंने भुला दिए होंगे।


कुछ बातों का मुझे इंतजार है

कुछ बातों का उनको इंतजार है

सफल क्यों हुए या क्यों असफल हुए

उन्हीं सब बातों से सीख लेना है।


कुछ सही किया है कुछ गलत भी किया है

कुछ नेकियां की है तो कुछ बुराइयां भी हुई है

मायूसी का घर अपने ही अंदर है

बाहर निकालने का मौका है।


उम्मीद बनाए रखें ना दुख मनाए

मायूसी का घर अपने ही अंदर है

अपने कर्तव्यको निभाकर चले

हमें संभलने का मौका मिल गया है।


अपनी सेहत और आचरण बनाए रखना

और अपने पराए का ख्याल रखना है

सभी गलतफहमियां दूर करके

बहुत सारी खुशियां मिलाना है।


हम ईश्वर से यही प्रार्थना करते हैं

आपके जीवन में खुशियौभरी बहार आए

शुभेच्छा नववर्षकी हम देते हैं

फिर नया साल आया है

हमें संभलने का मौका मिल गया है।


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