श्रीगणेश..!!
श्रीगणेश..!!
हे विघ्न हर्ता, शंकर सुता, हे मंगलकारी गणेश।
शरण में लो, हरण करो, मेरे मन का हर क्लेश॥
क़दम हो हर, सद मार्गों पर, बाँटूँ ख़ुशियाँ अशेष।
मन में मेरे, ना कभी भरे, किसी से कोई भी द्वेष॥
हे विघ्न हर्ता, शंकर सुता, हे मंगलकारी गणेश।
शरण में लो, हरण करो, मेरे मन का हर क्लेश॥
क़दम हो हर, सद मार्गों पर, बाँटूँ ख़ुशियाँ अशेष।
मन में मेरे, ना कभी भरे, किसी से कोई भी द्वेष॥