शिक्षक
शिक्षक
आपने ही कलम पकड़ना सिखाया
आपने ही कलम चलाना सिखाया
जानवर इंसान का भेद बताकर
अच्छे बुरे का फ़र्क समझकर
सही मार्ग हमेशा हमें दिखाया
ना रंग रूप, ना जाति पाती ,
ना अमीर गरीब का किया भेदभाव,
ज्ञान देकर हमें सम्मान के काबिल बनाया
जीवनपथ आपने ही चलना सिखाया
बुरे वक़्त में धैर्य रखकर हम हँसना सिखाया
रहता आपका ज्ञान ही हमारी परछाई बनकर,
जीवन के पग पग पर ही इसने सच्चा साथी बन हमारा साथ निभाया
आपके दिए ज्ञान से साथी नहीं कोई सच्चा,
ये सब बुरे वक़्त में हमें समझ आया
आपके ज्ञान ने ही सही मायने में इंसान बनाया,
सही गलत का दायरा हर बार हमें समझाया,
धरती पर रह ज्ञान ने परिंदों के जैसे आसमान में उड़ना सिखाया
नमन उस हर शिक्षक को जिनके दिए ज्ञान ने
आज इस जगत में हमें रहने के काबिल बनाया।