सबसे बड़ा त्यौहार।
सबसे बड़ा त्यौहार।
इंसान जब से पैदा होता,
एक तरह से बाकियों से भिन्न होता,
वो दूसरों से प्यार करता,
हां ये आवश्य,
कईयों से अधिक और कईयों से कम करता।
पहला प्यार,
वो अपने मां-बाप से करता,
इसका प्रभाव इतना होता,
अगर वो हों नाराज,
तो इंसान का चले जाता होशोहवास।
दूसरा प्यार,
वो अपने भाई बहनों से करता,
उनको अपना सबसे किमती नगीना समझता,
उनसे ताउम्र बनाकर रखने का प्रयत्न करता,
इससे ये रिश्ते भाईचारे में मिसाल पैदा करते।
तीसरा प्यार,
वो अपने दोस्तों से करता,
जो हर मुसीबत में उसका साथ देते,
अच्छे बुरे का अंतर समझाते,
फिर समाज में उसकी पैठ बनाते।
अंतिम प्यार,
वो अपनी महबूबा से करता,
उसके बिना जीना कठिन लगता,
वो उसके दिमाग का हिस्सा बन जाती,
वो उससे प्रेरणा लेता,
उसपे शायरी करता,
उसकी एक-एक बात का ख्याल रखता,
उसे दुनिया में सबसे अच्छी समझता,
उसकी किसी भी बात का,
बुरा नहीं मनाता,
यहां तक की,
उसके पीछे हर किसी से भीड़ जाता,
समय ऐसा आ जाता,
अगर उसको चोट पहुंचे,
तो दर्द खुद मनाता,
उसके उपर पुरी कायनात न्यौछावर कर देता,
हर पल उसका ही विचार करता,
अगर हो संभव,
तो उसे जीवन संगिनी बनाता,
सारी जिंदगी उसके साथ गुजारता।
इसी रिश्ते को वैलंटाइंस डे मनाता,
यही एक ऐसा त्यौहार,
जो प्यार को परवान चढाता,
दो प्रेमियों को स्थापित करता,
उनको हंसी खुशी के पल बांटने का मौका देता,
भगवान भी उनको आशीर्वाद देता,
सही मायने में,
एक अच्छे समाज की नींव रखता।
मेरा तो ये मानना,
इसको यूएन द्वारा बनाया जाए,
अंतरराष्ट्रीय पर्व,
पूरी दुनिया में हो इसकी छुट्टी,
इस दिन प्यार के ग्रंथों की हो पूजा,
धार्मिक स्थलों में भी हो,
उनकी कामयाबी की कामना,
सबसे प्यार करने वाले,
जोड़े को किया जाए सम्मानित,
प्यार फैलाने के लिए,
बनाया जाए अंतराष्ट्रीय कोष,
पुरी दुनिया प्यार में,
इस दिन हो जाए मदहोश।