प्यार क्या चीज़ है
प्यार क्या चीज़ है
जब जिन्दगी तेरे नाम कर दी है प्यार मे
तो तुम्हे क्या बताऊ बेतबी क्या चीज़ है।
आज हो तुम, तुम हो कल मेरा
तेरी ये नजरान्दज़ी क्या चीज़ है।
जन्नत मिलती थी मुजे बस तुमसे बात करने से
ये सिलसिला भी रुक गया, अब जहन्नं क्या चीज़ है।
तुमको भगवन माना है - तुमको ही अल्ल्हा
साथ तुम्हरा इबादत है मेरी, बेरुखी क्या चीज़ है।
है एक दिल जो धडकता है तेरे लिये
जीता हूं में बस, मरता हूं तेरे लिये।
ना समझ इसको तू कमजोरी, येह तो प्यार है मेरा
सिर्फ तुमको जिन्दगी माना, बेवफाई क्या चीज़ है।

