नहीं बदलूँगी..!
नहीं बदलूँगी..!


हाँ...
मैं..
मैं हूँ
थोड़ी जिद्दी
थोड़ी नकचढी
और
ऐसी ही रहूँगी
साठ
सत्तर
अस्सी
कोई भी उम्र हो
नहीं बदलूँगी
तुम्हें परेशाँ करती रहूँगी
पगलू
समझे..!!
हाँ...
मैं..
मैं हूँ
थोड़ी जिद्दी
थोड़ी नकचढी
और
ऐसी ही रहूँगी
साठ
सत्तर
अस्सी
कोई भी उम्र हो
नहीं बदलूँगी
तुम्हें परेशाँ करती रहूँगी
पगलू
समझे..!!