मोहब्बत
मोहब्बत
आहिस्ता आहिस्ता, यूँ तू मुझ में घुलसा गया,आहिस्ता आहिस्ता,
इश्क़ तुमसे बढ़ता गया,जाने न कैसे रोके इस दिल को,
ये तो तुझपे फ़िदा हो गया,
पहली नज़र में दिल बेकाबू,कैसा चलाया तूने ये जादू,
ना जाने फिर ना जाने, मुझको कुछ कुछ होने लगा,
सपनों में, मेरे सपनों में, यूँ तू मुझसे मिलने लगा,
जाने न कैसे रोके इस दिल को,ये तो तुझपे फ़िदा हो गया।
हर पल है गुज़रे यादों में तेरे, खुशबू तेरी, साँसो को घेरे,
हलचल सी, थोड़ी हलचल सी, मन में तरंगे उठने लगी,
पागल सी, मैं पागल सी, प्यार में तेरे होने लगी,
जाने न कैसे रोके इस दिल को,ये तो तुझपे फ़िदा हो गया।
आहिस्ता आहिस्ता, यूँ तू मुझ में घुलसा गया,
आहिस्ता आहिस्ता, इश्क़ तुमसे बढ़ता गया,
जाने न कैसे रोके इस दिल को, ये तो तुझपे फ़िदा हो गया।

