Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!
Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!

Dr. Tulika Das

Romance

4  

Dr. Tulika Das

Romance

मै तुझसे फिर मिलूंगी

मै तुझसे फिर मिलूंगी

1 min
291


मिलना मेरा तुझसे बस समय की बात है

समय से परे है रिश्ता हमारा

रिश्ता यह एक दूजे के साथ है ।

बंधन यह दिनों का नहीं ,

युगों युगों की बात है

जन्म जन्म से हम हैं

एक दूजे के लिए

मैं तेरे और तू मेरे साथ है ।


मैं आऊंगी लौटकर फिर तेरी राहों में,

फिर मिलूंगी मैं तुझसे,

और तेरी चाहतों से,

कहां , कब , कैसे ,

यह मैं जानती नहीं

बस जानती हूं मैं इतना

मैं तुम्हारे लिए और तुम हो मेरे लिए ।


शायद कभी तेरी कल्पनाओं का हिस्सा बन कर,

कभी तेरी आंतरिक इच्छा बन कर

बनूंगी मैं तुम्हारी प्रेरणा ,

उतारोगे जब कभी तुम रंगों को ,

कोरे कागज में उन रंगों संग मैं भी उतर जाऊंगी,

झाकूंगी कभी उन रंगों से

रंग तुम्हारे भी रंग जाऊंगी

मैं तुझसे कुछ यूं मिलूंगी ।

मिलूंगी मैं तुझसे कुछ यूं भी

तेरे केनवास पे

तेरी खींची लकीरों में

लकीर एक बन जाऊंगी

ओढ़ लूंगी एक रहस्य मैं

खामोशी नजरों से तुझे देखूंगी ,

कुछ यूं मैं तुझसे फिर मिलूंगी ।


फिर मिलूंगी मैं तुझसे ,

आऊंगी फिर मैं तेरी बाहों में 

तेरी अकेलेपन को ,अपने अधूरेपन से मैं भर दूंगी,

बन कर तेरी रूह का हिस्सा ,

अपने वजूद को मैं पूरा कर लूंगी,

फिर मिलूंगी मैं तुझसे , तेरी ही बाहों में

मैं फिर तेरी राहों में आऊंगी।


मैं तेरे लिए और तू है मेरे लिए ,

मैं तुझसे फिर मिलूंगी,

कब , कहा , कैसे मैं जानती नहीं

पर लौट कर मैं तेरी राहों में ही आऊंगी

मैं तुझसे फिर मिलूंगी ।



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance