लब पे ना आए
लब पे ना आए
लब पे ना आए
वो बात
माचो बनना है
फर्क नहीं पड़ता
तुझे इसके चलते दर्द दिया
माफ करना
अंदर से बहुत सेंसिटिव हूँ यार
फर्क पढ़ता है
आज भी सब लम्हात याद है
याद है तेरा रोल नंबर
नाम हॉस्टल रूम नम्बर बर्थडे
किसने कहा दर्द नहीं होता है
थोड़ा पजेसिव हूँ यार तुझे लेकर
तेरे सिवा सबको पता है
की हम तुझे चाहते है
नुक्कड़ मैं सब भाभी बोलते है तुझे
बस सब रिजेक्शन का डर है यार
कहा तो था समीर को तुझसे मोहब्बत है
कहना चाहते थे की हम तुझे चाहते है
तेरे फेस्ट के रैंप वॉक के समय
गुस्सा फ्रस्ट्रेशन इतना हुआ की क्या बताऊं
पर खुद को संभाल लिए
औकात के बाहर प्यार करने से डरते थे
हम छोटे शहर के लौंडे होते ही ऐसे
बस एक बार अच्छी तरह से देखा होता तो
पिघल जाते
आज इतने दिन मुलाकात हुई तो खुद को
रोक लिया डेस्परेट साउंड नहीं करना चाहते थे
आज भी आवाज लगाओ तो दिल के हर कोने में
तेरा ही आगाज है
भाई लेखक की निजी कहानी है
अभी वो तुम्हारी भाभी है
बस इतना कहना है दिल में
कोई बात है तो कह डालो
यार जिंदगी छोटी है
प्यार चाहिए भाई शायर बनना नहीं है