कभी तुम चले आओ
कभी तुम चले आओ
दुनियाभर की बंदिशें रोके अगर
राह रोके चाहे नजरें कस्बे शहर
ख्वाब ही महफूज जहां है साथी
कभी हम चले आएं
कभी तुम चले आओ
तेरी यादों को जब अश्कों से भिगोया हमने
तेरी बातों को जब जज्बातों में पिरोया हमने
तस्वीर ही महफूज यहां है साथी
कभी हम गले लगाएं
कभी तुम गले लगाओ
ख्वाहिश में खुदा से तुम्हारी खैर मांगता हूं
खुश रहे खियाबां में तुम्हारी सैर मांगता हूं
खुदा की दर पे रखने अपनी दास्तां साथी
कभी हम चले जाएं
कभी तुम चले जाओ।