जब से तुम मुझसे
जब से तुम मुझसे
जब से तुम मुझसे दूर रहने लगे हो,
ना जाने क्यों अच्छे लगने लगे हो।
सूनापन सा रहता है अब आँगन में हमारे ,
लगे यूँ मेले सारे उस तरफ लगने लगे हो।
तुम्हारे तरफ से आती हवा से पूछा मैंने,
बड़ी महकती हो सुना है कि उनके बालो से उलझने लगी हो।
बेचैनी सी रहती है उड़ नींद भी गई अब,
सुना है आप इस मर्ज की दवा करने लगे हो।
"और"
की हो जाए अब दीदार बस यही तमन्ना आखिरी है,
सुना है जब से दूर गए हो और भी अच्छे हो गए हो।
जब से तुम मुझसे दूर रहने लगे हो,
ना जाने क्यों अच्छे लगने लगे हो।