श्राद्ध-एक कुप्रथा
श्राद्ध-एक कुप्रथा
श्राद्ध एक है कुप्रथा
श्राद्ध न कोई निदान
जीवन के तत्क्षणो में
ये कुप्रथा है महान
पाखंड और आडंबर में
कर्जे का मोहताज है
स्वार्थी लोगो का रचा हुआ
ये षड्यंत्र एक राज है।
कैसी भी हो स्थिति
विरोध लोग बढ़ाएंगे
मोक्ष के चक्कर में
झूठा इतिहास बनाएंगे।
जीते जी ही सत्कर्म करो
मोक्ष है न कोई मरने पर
आओ रोके इस कुप्रथा को
पल रही नित् जो बेल कोई।
