दोस्त
दोस्त
ठंड के मौसम में खिलखिलाती धूप से तुम,
भरती हो खुशी मेरे जीवन में तुम,
निराशा की घड़ी में आशा की किरण दिखाती हुई तुम,
किसी नए काम को करने का हौंसला बढ़ाती तुम,
किसी भी समस्या में समाधान बताती तुम,
मुसीबत के समय में रास्ता दिखाती तुम,
खरीफ के मौसम में हल्की फुहार से तुम,
मेरी हर खुशी की राजदार हो तुम,
कौन हो तुम, कौन हो तुम ?
दोस्त हो मेरी बस एक ही तुम,
दुआ है मेरी हमेशा खुश रहो तुम।