आजादी
आजादी
मुश्किलों से पायी थी हमने आजादी
ना जाने कितने शहीदों की कुर्बानी से,
जिया है जीवन कैसे उनके परिवारों ने
रहे है अनजान हम सभी इस सच्चाई से,
बहुत से तो थे ऐसे गुमनाम शहीद थे बेचारे
जिनका नाम भी था गायब दस्तावेजों से,
नही मिला सम्मान और न ही मिली पहचान
आजादी के ऐसे मतवालों को कभी देश से,
ढूंढ-ढूंढ कर ऐसे वीरों की पहचान करनी है
उन सबके लिए लिया है यही प्रण आज से।
