"भोर भयो नंदलाल"
"भोर भयो नंदलाल"
भोर भयो नंदलाल, उठो अब।
भोर भयो नंदलाल, उठो अब।
पूरव में देखो लाली छायी,
तुम्हें जगा रई, यमुना माई।
कमल खिले हैं ताल, उठो अब,
भोर भयो नंदलाल, उठो अब।
ठंडो सौ पानी गरम कर लाई,
माखन मिश्री, मटकिया लाई।
जल्दी करो स्नान, उठो अब,
भोर भयो नंदलाल, उठो अब।।
