आओ हाथ बढ़ाओ
आओ हाथ बढ़ाओ
आओ हाथ बढ़ाओ
प्रेम ऊँगली अँगूठी से भर जाने दो
नज़र मिलाओ मत सरमाओ मुश्काओ
सुबह शाम अभी हो जाने दो
अभी विचरण भ्रमण मे भवर सा
तुम खुशबू हो महक जाने दो
अभी अभी मिले है वक़्त को ठहराओ
या खुद को उम्र भर ठहर जाने दो।

