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Dr. Madhukar Rao Larokar

Inspirational

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Dr. Madhukar Rao Larokar

Inspirational

सकारात्मक निर्णय

सकारात्मक निर्णय

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बात वर्ष 2003 की है। जब हमारा तीसरा पुत्र बारहवीं की परीक्षा में छत्तीसगढ़ बोर्ड से, मैरिट में स्थान बनाकर उत्तीर्ण हुआ था।

उसने छत्तीसगढ़ राज्य से प्री मेडिकल टेस्ट में सहभागिता की तथा उसका चयन बी डी एस (दंत चिकित्सक, स्नातक) में हो गया।

सुमित ने कहा "पापाजी मैं बी डी एस में एडमिशन लेना चाहता हूँ। वह भी चिकित्सा की डिग्री है। वैसे आप जैसा कहें। निर्णय आपको ही करना है।"

पुत्र के साथ, परिवार के लोग भी सहमत थे। कारण था कि पुत्र ने पहले ही प्रयास में पी एम टी परीक्षा उत्तीर्ण की थी।

परंतु मैं सहमत नहीं हो पा रहा था। मेरी सोच थी कि हमारा पुत्र एम बी बी एस करे और मेडिकल में ऊंचा स्थान बनाये।

मैने अपने पुत्र को बुलाया और कहा "बेटा मैंने निर्णय किया है कि तुम अगली बार पी एम टी की परीक्षा दो और उच्च स्कोर प्राप्त करो। इससे तुम्हें आसानी से एम बी बी एस में एडमिशन मिल जायेगा।"

मेरे इस निर्णय से सहमत हो गये सभी और शुरू हुआ पुत्र के कैरियर के लिए दिन रात का परिश्रम। पुत्र ने अपनी क्षमता से ज्यादा परिश्रम किया। इसमें परिवार का सहयोग और हमारा आशीष भी शामिल था।

रिजल्ट आया और पुत्र ने छत्तीसगढ़ राज्य से एस सी/ एस टी कैटिगरी में 24वां स्थान प्राप्त किया।

शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय (सिम्स) बिलासपुर(छत्तीसगढ़) में उसका एम बी बी एस में पुत्र का एडमिशन हो गया।

आज उसके पास एम बी बी एस, डी सी एच,एफ आई ए पी जैसी डिग्री और सुपर स्पेशलिस्ट की योग्यता है।

हमार पुत्र डाॅ सुमित लारोकर पिछले पांच साल से बेंगलोर (कर्नाटक) में सुपर स्पेशलिस्ट (चाइल्ड)के रूप में प्रतिष्ठित हॉस्पिटल में कार्यरत है।

हमारे डाक्टर पुत्र ने कहा "पापाजी उस समय आपका निर्णय एकदम सही था। मैं आज जिस मुकाम में हूँ, आपके उस सकारात्मक निर्णय के कारण ही हूँ।



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