वो लड़की
वो लड़की
खूबसूरत मन चंचल चितवन
चिंता नहीं सिर्फ चिंतन
वो है मस्त बसंती मौसम
बातें उसकी लाएं सावन
वो प्यार वो लड़की प्यारी सी
वो इश्क भी वो ही आकर्षण
वो खिलखिलाए जिस रोज कभी
खुशियां बिखरे घर – आंगन
वो मासूम सी वो पागल लड़की
नटखट भोली जैसे बचपन
उसका बंधन ना तोड़ सकूं
दिल से बांधे वो हर बंधन
खूबसूरत मन चंचल चितवन
चिंता नहीं वो मेरी चिंतन।