STORYMIRROR

Sukanta Nayak

Drama

2  

Sukanta Nayak

Drama

उमंग

उमंग

1 min
236

सुबह की पहली किरण जब मुझ पे गिरी,

आँखों में मेरे थोड़ी नमी सी छाई

साँसों में एक ताजगी भर गयी,

और मन में उमंग लाई।


कुछ कर गुजरने का जुनून

आसमानों को छू जाने का जज्बा

हर मुश्किलों को लांघने का साहस

मन में ये सारे आयाम तरंग बनके आए।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Drama