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Jyotshna Rani Sahoo

Romance Others

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Jyotshna Rani Sahoo

Romance Others

तुम्हारा साथ

तुम्हारा साथ

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तुम रोज याद नहीं आते हो

बस जब मैं लड़ती हूं

खुद से और हार जाती हूं

तुम्हारे यादें मयखाना के तरह

सारे गम भुला देते हैं।


तुमपर हमेशा प्यार नहीं आता

बस जब जब मैं

नफ़रत की जंजीरों में

जकड़ी हुई होती हूं

दम घुटने के वक्त

तुम्हारे प्यार जैसे मुझे

उससे आजाद करता है।


मैं तुम्हें हर जनम 

अपना बनाना नहीं चाहती हूं

बल्कि तुम्हारे साथ

एक एक पल को

जनम जनम बनाना चाहती हूं।


मैं तुम्हारा साथ हमेशा के लिए

नहीं चाहती हूं

बस ये सांस रुकने तक

तुम्हें अपना पास चाहती हूं।



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