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pawan mohakul

Tragedy Inspirational

4.1  

pawan mohakul

Tragedy Inspirational

था एक दिन

था एक दिन

1 min
547


माना की में तुम्हे बहत प्यार करता था...

तेरी सपनों में खोने की अर्ज़ रखता था...

पर आज नहीं था एक दिन...


माना की तेरे लिए बहत रोता था...

मुझे यूं छोड़ जाने की बाद भी तेरी इंतेजार करता था...

पर आज नहीं था एक दिन...


मेरे दिल की धड़कन भी तू थी...

मेरे दुआओं की वजह भी तू थी...

पर आज नहीं था एक दिन...


था एक दिन जब तू मुझे प्यार करती थी...

मेरे साथ जीने और मरने की इरादा रखती थी...

मेरे छोटे से चोट से तेरी आंख भर जाती थी...

तेरी मुस्कुराठ की वजह भी में था...

पर आज नहीं था एक दिन...


था एक दिन जब तू केहेती थी की मेरा साथ कभी ना छोड़ेगी...

अगर मैं छोड़ गया तो तू अकेली रहे जाओगी...


था एक दिन जब तू मुझे किसी और के लिए छोड़ दिया...

किसी और की मुस्कुराठ को तेरी जीने की वजह बना दिया...


तेरे लिए मेरे दिल की प्यास खतम हो गया...

तुझे भी में यूं भुला दिया...


आएगा एक दिन, तुझे भी कोई प्यार का मतलब समझाएगा...

दर्द क्या होता है ये एहसास दिलाएगा...


तब तू सोचना, की था एक दिन जब 

मैंने भी किसी के साथ यही किया था...


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