STORYMIRROR

Praveen Kumar Saini "Shiv"

Romance Classics Inspirational

4  

Praveen Kumar Saini "Shiv"

Romance Classics Inspirational

सुनो ना

सुनो ना

2 mins
377

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरा खुन जो पी सकता है तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरे सुख चैन को लुटने वाली तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरी नींद उडाने वाली सिर्फ तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरे पर हर पल शक करने वाली तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरे बच्चों पर अत्याचार करने वाली तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरे घर का सुख चैन सब छिनने वाली तुम ही हो

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

हां नहीं आती तारीफ करना यह कहने वाली तुम ही हो।।

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

जानती हो इन सब बातों के बावजूद मेरा तुम ही हो।।

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

मेरे लिए हंस कर अपना घर परिवार छोड़कर आने वाली तुम ही हो।।

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

बचाती रही जिस इज्जत को, वह पहली रात में

मुझ-पर इज्जत लुटाने वाली तुम ही हो।।

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

जैसी भी हो हमारे घर की देवी तुम ही हो।।

सुनो मेरे जीवन में और नहीं

यह घर तेरा है इस घर की मालकिन तुम ही हो।।


এই বিষয়বস্তু রেট
প্রবেশ করুন

Similar hindi poem from Romance