शराब
शराब
होश खोने के लिए साधन बनी शराब
करके घर तबाह खड़ी है तनी शराब
काम निकलवाने का ज़रिया है ये शराब
निराशावादी कहतें हैं कि बढ़िया है ये शराब
हाथों की मेहँदी को धोती है ये शराब
माँग के सिन्दूर को खोती है ये शराब
बच्चों के भविष्य को निगलती है ये शराब
औरत के जीवन को मसलती है ये शराब
रम व्हिस्की ब्रांडी नामों से बिकती है ये शराब
पर ईनाम सिर्फ मौत का देती है ये शराब
इंसान को हैवान बना देती है ये शराब
नारी को पायदान बना देती है ये शराब
मानव भावनाओं को कुचलती है ये शराब
फिर भी सबकी आँखों में लरज़ती है ये शराब
आँख से शर्म उतरवाती है ये शराब
नीच से नीच कर्म करवाती है ये शराब
अब तो हमारे रक्त में दौड़ती है ये शराब
रक्त पानी और पानी ज़हर बनाती है ये शराब
आओ भारत माता के मस्तक से मिटायें ये अभिशाप
प्रण करें दृढ़ कभी सेवन न करने का शराब