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Rishabh Tomar

Romance

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Rishabh Tomar

Romance

पी है मैंने

पी है मैंने

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कभी गुम होके तो कभी

दिल खोल के पी है मैनें


सच कहता हूँ मेरी जान 

बिन तोल के पी है मैंने


तेरे अधरों के, नयनों के

मदिरालय में जाकर के


चुपके -चुपके कभी तो

कभी बोल के पी है मैंने।


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