महाराणा प्रताप
महाराणा प्रताप
सूर्य सा तेज था वो चंद्र सा शीतल,
युद्ध भूमि का महान वीर था ऐसा,
जिसे आज हम करे सत सत नमन,
जिसे आज हम करे सत सत प्रणाम,
स्वाभिमान था जिसका अजर अमर,
वो महान वीर था महाराणा प्रताप,
जिसकी तलवार की धार थी ऐसी,
जिससे दुश्मन भी थर थर कांपते,
युद्ध था हल्दीघाटी का वीर प्रचंड,
जहाँ अकबर भी खूब घबराता था,
मानसिंग ने भी देखा वो जब शौर्य,
तब तब वो भी डर के थर थर ध्रुजता,
बहेलोल खान को जब मारा प्रतापने,
तब हर कण महाराणा की जय बोले,
चेतक घोड़े का वो वीर सवार था ऐसा,
जिसने रची भारत माँ की महान गाथा,
मेवाड़ राज अब भी है जय जय बोले,
भारत देश का हर प्रदेश जय जय बोले,
हम भी आज है जिसकी जय जय बोले,
" वो महावीर महाराणा प्रताप की जय "
" वो महावीर महाराणा प्रताप की जय "
