म्हारा हरियाणा
म्हारा हरियाणा
काला दामण, धौला कुर्ता, लाल चूंदडी करै कमाल,
हरियाणे के मानसां की बड़ी कसूती चाल।
सिर पै पगड़ी मर्द पहरते, जूती करै कमाल,
अपणी मेहनत के बल पै, खेतां मैह करै कमाल।
छैल गाबरू छोरे आड़े के, दुश्मन की तौड़ दैं नाड़,
देश सेवा का देखो जज्बा, सेना मैह करै कमाल।
लांबी ठाडी म्हारी छोरियाँ, ओलम्पिक मैंह करै कमाल,
विदेशां की धरती पै, जा कै मचावै धमाल।
मजदूर- किसान नै देख लियो,खेता मैहं फसल उगावैं,
बढ़िया होवै उत्पाद म्हारे, खूब पसीना बहावैं।
हर महीने मैह आवै त्यौहार, सब खुशी-खुशी मनावैं,
बीर आड़े की हार ना मानै, कांधे तै कांधा मिलावैं।
हरियाणे तेरी शान निराली, देख कै मन हरसावै,
जाडे मैंह बाजरे की खिचड़ी,
सर्दी नै दूर भगावै।
बिजली आई घरां मैह जब तै , जगमग दीप जलावै,
हरियाणे तेरी शान कै, हरियाणा वासी चार चाँद लगावैं।