STORYMIRROR

Abhishek Singh

Tragedy

2  

Abhishek Singh

Tragedy

महामारी

महामारी

1 min
2.6K

अफवाहों का तो ये हिसाब है

हर शहर में कोरोना की बिसात है

शहर - शहर में ताला लग गया

आपातकालीन का हवाला लग गया


सरकारें भी विवश हैं

अमेरिका भी पस्त है

चीन का बदला हूं मैं 

अमेरिका से तगड़ा हूं मैं


करोना कहता मुँह फाड़ के

झट पट गले से नीचे दौड़ के

फेफड़ों में घूस जाता हूँ

किसी के हाथ न आता हूँ


14 दिन का समय तुम लेते

हर दिन मुझ को बढ़ावा देते

न हूँ मैं अनन्त से 

हो कारण तुम, जीवंत से।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Tragedy