मेरी मां
मेरी मां
आज मेरी मां की आंखो में आंसू है
मैं खामोश हूं और लाचारी मेरा हथियार है।
उनको चाहिए बस मेरा साथ और थोड़ी शांति
लेकिन उनको छोड़ खुद में मजे करना मेरी आदत थी।
अब समझ चुका हूं अपनी जिम्मेदारियों को
इसीलिए छोड़ रहा अपनी आदत बहुत सारियो को।
देखना मां ये बेटा बड़ा काम करके दिखायेगा
अपनी मां को बुलंदियों पर बिठा कर दिखायेगा।
जाना था जिसको वक्त बेकार आने वाला समय शानदार मां
इस बार करके दिखाऊंगा ना करूंगा सिर्फ बातें असरदार मां।