मेरी बहन
मेरी बहन
छोटा भाई कहता है--
बड़ी बहन का प्यार इस जग में, लगता मुझको मम्मी सा।
बड़ी बहन की जगह ले सके, कोई नहीं दूजा ऐसा।
जो भाई की खुशियों की खातिर, अपनी खुशियां खो देती,
अपने खेल खिलौने भी वो, छोटे भाई को दे देती,
खेल खेल में उसका भी दिल, बन जाता नन्हीं बच्ची सा।
बड़ी बहन का प्यार इस जग में, लगता मुझको मम्मी सा।
जब टीचर दीदी बनकर तुम, मुझको रोज पढ़ाती हो,
वन, टू, थ्री औऱ ए बी सी डी मुझको तुम सिखलाती हो,
मौका पाकर तुम भी मेरी , खूब पिटाई लगती हो,
लेकिन टॉफी और आइसक्रीम, तुम्हीं मुझे दिलाती हो,
तब प्यार तुम्हारा ठन्डक देता, घने वृक्ष की छांई सा।
बड़ी बहन का प्यार इस जग में, लगता मुझको मम्मी सा।
बहन कहती है--
रक्षा बंधन आता है जब, मैं राखी लेकर आती हूँ,
इंतजार करके तेरा, मैं तो थक ही जाती हूँ।
सुबह से हो जाती है दोपहर, तू राखी नहीं बंधवाता है,
भगवान ही जाने तू मुझको, क्यों इतना सताता है।
भरा है तेरे अंतर्मन में, दुनियां का प्यार समेटे सा,
छोटे भाई का प्यार इस जग में, लगता मुझको बेटे सा।
रोज सवेरे जल्दी उठकर, मैं तुझको उठाती हूँ,
तेरे स्कूल जाने पर, मैं खुद भी रेस लगाती हूँ,
हँसना-रोना और खेलना, तेरे साथ ही होता है,
पूरी दुनिया मेरी तू है, तू मेरा रक्षक बनता है,
मेरी लाज बचाने को तू बनता तीर और भाले सा,
छोटे भाई का प्यार इस जग में, लगता मुझको बेटे सा।