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Swati Sharma

Tragedy

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Swati Sharma

Tragedy

कोख

कोख

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माँ मुझे मत मार इस कोख में,

दुनिया में आने का मेरा भी है अधिकार।

अंश हूँ मैं तेरा भी,

तू ये क्यूं भूल जाती है।

अपने खून से रात दिन सीन्चा है तूने मुझको

फिर मेरे साथ क्यूं इतना अत्यचार।।

माँ समझा इस दुनिया को,

कि बेटा नहीं,बेटी भी है इस जीवन का आधार।।


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