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Shailendra Kumar Shukla, FRSC

Romance

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Shailendra Kumar Shukla, FRSC

Romance

कोई सच्चा नहीं

कोई सच्चा नहीं

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कोई सच्चा नहीं, कोई अच्छा नहीं 

प्यार की राह मे, कोई कच्चा नहीं 

पर हमारी तुम्हारी मुलाकात मे 

फासले हो गये देखते देखते !


प्यार एक जंग है, ये सभी को पता 

हार मंजूर ना , ये भी है सबको पता 

पर हमारे तुम्हारे सवालात मे 

सिलसिले हो गये देखते देखते !


आज कल हमें याद रहते हो तुम 

पलों की पलको पे भी राज करते हो तुम 

पर हमारे तुम्हारे ही ज़ज़बात मे 

मसले ही मसले हो गये देखते देखते !


कब ये सोचोगे तुम, य़ा ना समझोगे तुम 

जानकर भी बेबाकी से सहमोगे तुम 

पर तुम्हारे गजब की इस खामोशी मे 

टुकडे ही टुकडे हो गये देखते देखते !!


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