STORYMIRROR

Bhagyashri Chavan Patil

Inspirational

4  

Bhagyashri Chavan Patil

Inspirational

इसी का नाम ज़िंदगी

इसी का नाम ज़िंदगी

1 min
201

राह चलती ज़िंदगी में कौन

किसके साथ है पता ही नहीं चलता।।


आंखें नम होकर भी कौन

कोइ अपना आंखें पोंछने नहीं चला आता।।


सब होकर भी कौन

अपना कौन पराया समझ नहीं आता।।


सब कहते ज़रूर है फिर भी कौन

अपना कोइ भी एक पास नहीं होता।।


सब ठीक होगा ये आरजू कम होंगे 

तब कोइ शिकवा या किसी से फरक नहीं पड़ता।।


ऐसे अवसर बहुत आयेंगे दुःख के बादल होंगे

तभी अकेले रह कर खुदको संभालना मुश्किल ना होता।।



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational