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Sunita Sharma Khatri

Drama Others

0.6  

Sunita Sharma Khatri

Drama Others

होगी जल प्रलय

होगी जल प्रलय

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जब मानव न मानेगा

काटेगा हरे भरे जंगलों को

अपने ही हाथों से

उजाड़ेगा बगिया

अपने घर आँगन की।


तब सृष्टि प्रलय का

तांडव नित्य मचायेगी

छेड़ेगी कोमल कलियों को,

वासना और हवस

अपने चरम पर जा पहुँचेगी।


तब सृष्टि नित तांडव

कर संहार का

दृश्य दिखायेगी

होगी जल प्रलय !

और अंधकार

अपना सम्राज्य

चारो ओर फैलायेगा।


असुर मारकाट मचायेंगे

मानवता चीत्कारेगी

नन्ही कलियों को जब

रौंदा जायेगा

तब प्रकृति

हाहाकार मचायेगी।


रोक न सकेगा कोई भी

मनु भी लुप्त हो जायेगें

कुछ तब शेष न होगा

अवशेषों का जहान होगा

मृत्यु राज जमायेगी !




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