॥ एक झलक आई हैं ॥
॥ एक झलक आई हैं ॥
आज अरसे बाद लगा जैसे वो नज़र आई है
मेरे साथ की बोगी मैं उसकी आहट मैंने पाई हैं
मैंने भी हिम्मत की और नज़र उठाई हैं
नज़रें मिली जब दोनों की तो मुझे इतनी बात समझ आई है
लगता हैं जैसे उसके दिल मैं मेरी तरह अभी तन्हाई है
ये सोच कर हमने उसकी तरफ हलकी हिम्मत जब दिखाई है
तब ही उसने हमें अपनी सगाई की अंगूठी इशारा कर दिखाई है
अचानक जब ये बात समझ आई है
दिल टूटा है और छाई रुसवाई है
यारों तब से उसको भूलने की हमने कसम भी उसी की खाई है॥

