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manasvi poyamkar

Romance

5.0  

manasvi poyamkar

Romance

दूर सारे

दूर सारे

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धीरे-धीरे सब मुझसे दूर होते गये

वक्त के साथ ये कदम मज़बूर ही होते गये

रिश्तों में हमने चोट खाई इस कदर के...

वफ़ा कर के भी हम बेवफ़ा हो गये

उनहोने माना नहीं कोई अफसाना

जरुरी ना समझा मेरी जरूरतों को जानना ....


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